Trade unions on strike against gov policies

सरकारी नीतियों के खिलाफ ट्रेड यूनियनों का आज हड़ताल

भारत बंद अपडेट: सरकारी नीतियों के खिलाफ ट्रेड यूनियनों का आज हड़ताल। केरल, झारखंड और पुडुचेरी में कुछ चुनिंदा सेवाएं प्रभावित हुईं।

भारत बंद के आयोजन का आज देश के कुछ खास शहर में ज्यादा असर हुआ। सबसे ज्यादा केरल, झारखंड और पुडुचेरी में कुछ चुनिंदा सेवाएं बाधित हुईं।  दिन 9 जुलाई, 2025 बुधवार को, देश के विभिन्न स्थानों में सार्वजनिक परिवहन बाधित रहा क्योंकि दस केंद्रीय ट्रेड यूनियनों (सीटीयू) द्वारा आहूत भारत बंद का विरोध प्रदर्शन तेज़ हो गया।  केंद्र सरकार की नीतियों के ख़िलाफ़ हड़ताल का लक्ष्य 17-सूत्री माँगपत्र का समर्थन करना हैं। 

सरकारी नीतियों के खिलाफ ट्रेड यूनियनों का आज हड़ताल

Trade unions on strike against gov policies
CPI (M) के जगदीश सूर्या ने कहा कि हड़ताल का उद्देश्य सरकार और उन राज्यों को एक कड़ा संदेश देना था जहाँ ट्रेड यूनियन संगठन शक्तिशाली हैं, और इसका प्रभाव गहरा रहा है।

 

भारत बंद:  9 जुलाई क्या खुला रहनेवाला है और क्या प्रभावित होगा ?
हड़ताल ने केरल में बंद का रूप ले लिया क्योंकि सेवाओं के बंद होने से निजी और सार्वजनिक रेलगाड़ियाँ और लंबी दूरी की सेवाएँ लगभग ठप हो गईं, जिससे सैकड़ों यात्रियों को असुविधा हुई। पश्चिम बंगाल के कई ज़िलों में वामपंथी कार्यकर्ताओं और पुलिस और तृणमूल कांग्रेस समर्थकों के बीच झड़प के बाद हिंसा की खबरें आईं, जबकि सामान्य जनजीवन सुनिश्चित करने के लिए अतिरिक्त सुरक्षा बल तैनात किए गए थे।

केंद्रीय श्रम मंत्रालय ने मंगलवार (8 जुलाई, 2025) को दावा किया कि आरएसएस समर्थित भारतीय मजदूर संघ (बीएमएस) सहित लगभग 213 यूनियनों ने उसे सूचित किया है कि वे राष्ट्रव्यापी आम हड़ताल में भाग नहीं लेंगे।

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09 जुलाई, 2025 16:45
ट्रेड यूनियनों द्वारा राष्ट्रव्यापी हड़ताल के आह्वान के बावजूद दिल्ली के बाज़ार खुले रहे। 
अपने अधिकारों की माँग कर रहे मजदूर और सामाजिक सुरक्षा सुधारों जैसे 17 सूत्री माँगों पर टिके कई ट्रेड यूनियनों द्वारा  की गयी राष्ट्रव्यापी हड़ताल के आह्वान के बावजूद  भी बुधवार को देश की राष्ट्रीय राजधानी के बाज़ार खुले रहेऔर हलचल देखा गया।

(CAIT) अखिल भारतीय व्यापारी परिसंघ ने कहा कि हड़ताल आवाह्न के बाद भी  दिल्ली की व्यावसायिक गतिविधियों पर भी ख़ास कोई प्रभाव नहीं पड़ा।

 बृजेश गोयल ने कहा,(सीटीआई के अध्यक्ष) “दिल्ली के सभी  56 औद्योगिक क्षेत्र  और 700 बाज़ार सामान्य रूप से काम कर रहे हैं।”

दिल्ली के सबसे व्यस्त, कनॉट प्लेस जो कि व्यावसायिक केंद्रों में से एक है वहॉं  सामान्य कामकाज देखा गया। नई दिल्ली ट्रेडर्स एसोसिएशन  के संयुक्त सचिव अमित गुप्ता ने कहा, (एनडीटीए) ने “कनॉट प्लेस के लिए यह एक सामान्य कार्य दिवस कहा है। यहाँ बंद का कोई प्रभाव नहीं है।”

खान मार्केट भी अप्रभावित रहा।

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पीटीआई  रिपोर्ट देखें:

कर्नाटक: मैसूर में औद्योगिक उत्पादन पर कोई असर नहीं, लेकिन हड़ताल ने केंद्र द्वारा तैयार की गई चार श्रम संहिताओं को उजागर किया
9 जुलाई को ट्रेड यूनियनों की संयुक्त समिति (JCTU) द्वारा आहूत राष्ट्रव्यापी आम हड़ताल का शहर और मैसूर के औद्योगिक क्षेत्र में सामान्य जनजीवन पर सीमित प्रभाव पड़ा।

मैसूर में, विभिन्न ट्रेड यूनियनों के नेताओं और AIUTUC, CITU और AIKMS के कई कार्यकर्ताओं ने शहर के मुख्य मार्गों पर मार्च निकाला और कर्नाटक सरकार और केंद्र के खिलाफ नारे लगाए।

CPI (M) के जगदीश सूर्या ने कहा कि हड़ताल का उद्देश्य सरकार और उन राज्यों को एक कड़ा संदेश देना था जहाँ ट्रेड यूनियन संगठन शक्तिशाली हैं, और इसका प्रभाव गहरा रहा है।

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