कश्मीर घाटी में फिर से नई किरण और विश्वास के साथ एकता का सन्देश देते हुए, भारतीय चार्टर्ड अकाउंटेंट्स संस्थान ने पहलगाम में स्वतंत्रता दिवस मनाया।
आईसीएआई संस्थान ने पहलगाम में 79वें स्वतंत्रता दिवस मनाया: भारत के 79वें स्वतंत्रता दिवस का जश्न मनाने के लिए पहलगाम की शांत घाटी को चुना गया, जिससे यह 22 अप्रैल को हुए अविश्वनीय हमले के बाद वहां उच्च स्तरीय बैठक आयोजित करने वाला पहला राष्ट्रीय संस्थान बन गया, जहाँ फिर से इस कार्यक्रम के अंतर्गत नई ऊर्जा फुक दी। जहाँ आतंकवादियों ने 26 नागरिकों की गोली मारकर हत्या कर दी थी।
आईसीएआई के सदस्यों और उनके परिवारों सहित लगभग 150 सदस्यों के साथ इस तूफानी कार्यक्रम का जश्न मनाया गया । जहाँ अप्रैल में हुए आतंकवादी हमले के बाद हुए नुकसान और अनिश्चितता से जूझ रहे समुदाय के लिए आशा की किरण साबित हुआ।
आईसीएआई ने अपनी 445वीं परिषद बैठक 12-14 अगस्त, 2025 को पहलगाम में आयोजित करने का निर्णय लिया और जिनके अध्यक्ष श्री चरणजोत सिंह नंदा ने कहा कि यह विश्वास बहाली और सामान्य स्थिति की ओर लौटने का एक सचेत प्रयास है।

उन्होंने कहा “पहलगाम में 79वां स्वतंत्रता दिवस मनाते हुए, हमारा संदेश स्पष्ट है आईसीएआई घाटी के साथ एकजुट है। यहाँ हमारी उपस्थिति केवल प्रतीकात्मक नहीं है; यह आशा का प्रमाण है, सामान्य जीवन की वापसी की पुष्टि है, शांति एवं साझा समृद्धि तथा के लिए मिलकर काम करने का वादा है,” श्री नंदा ने पाइन एंड पीक होटल में राष्ट्रीय तिरंगा फहराने के बाद स्पष्ट किया,जहाँ उन्होंने स्वतंत्रता दिवस मनाया था।
उन्होंने यह भी कहा कि मई में कार्यक्रम आयोजित करने के लिए मार्च महीने में ही बुकिंग हो गई थी, लेकिन दुर्भाग्यपूर्ण घटना के कारण इसे स्थगित करना पड़ा।
श्री नंदा ने कहा, ‘‘प्रधानमंत्री और गृह मंत्री ने देश को आश्वस्त किया कि पहलगाम की यात्रा करना सुरक्षित है और इसलिए हमने यह निर्णय लिया।’’ उन्होंने कहा कि वह व्यक्तिगत रूप से यह देखकर उत्साहित हैं कि जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री श्री उमर अब्दुल्ला कश्मीर घाटी में पुनः पर्यटन बढ़ावा के लिए पुनर्जीवित करने के अभियान का नेतृत्व तेजी से कर रहे हैं।
उन्होंने कहा, “यह परिषद बैठक केवल शासन का एजेंडा नहीं थी; यह साहस, निरंतरता और सामूहिक लचीलेपन की घोषणा थी। अपने सदस्यों और उनके परिवारों को घाटी में लाकर, हम यह दिखाना चाहते थे कि कश्मीर की भावना अडिग है।
लेखांकन, शासन सुधारों और आर्थिक पुनरुद्धार में अपनी भूमिका के अलावा, आईसीएआई आतंकवादी ताकतों के खिलाफ मजबूती से खड़ा होने और इस भूमि के सुरक्षित और समृद्ध भविष्य के निर्माण में भागीदार बनने के लिए प्रतिबद्ध है।”
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आईसीएआई के उपाध्यक्ष प्रसन्ना कुमार डी ने कहा कि उनका संगठन “दुखद घटना के बाद अपने पूरे वरिष्ठ नेतृत्व के साथ पहलगाम का दौरा करने वाला पहला संस्थान है”।
आईसीएआई ने पहलगाम में परिषद की बैठक आयोजित की, और यह 22 अप्रैल के हमले के बाद पहली उच्च स्तरीय बैठक है।
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